सुकन्या समृद्धि योजना के नियमों में हुए बदलाव, 1 अक्टूबर से पहले यह काम करें

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सुकन्या समृद्धि योजना (SSY) भारतीय माता-पिता के लिए एक महत्वपूर्ण बचत योजना है, जिसे सरकार ने 2015 में शुरू किया था। इसका उद्देश्य बेटियों के भविष्य को सुरक्षित बनाना है, खासकर उनकी शिक्षा और विवाह के लिए। इस योजना के तहत माता-पिता अपनी बेटी के नाम से खाता खोल सकते हैं, जिसमें वे छोटी-छोटी रकम जमा करके बड़ा फंड बना सकते हैं। वर्तमान में इस योजना पर 8.2% ब्याज मिलता है, जो काफी आकर्षक है।

हालांकि, सरकार ने हाल ही में इस योजना के नियमों में कुछ महत्वपूर्ण बदलाव किए हैं, जो 1 अक्टूबर से लागू होंगे। यदि आपके पास पहले से सुकन्या समृद्धि खाता है, तो आपको इन नए नियमों के बारे में जानकारी होना आवश्यक है। यह लेख आपको इन बदलावों के बारे में विस्तृत जानकारी देगा ताकि आप समय रहते अपने खाते में आवश्यक बदलाव कर सकें।

क्या है सुकन्या समृद्धि योजना?

सुकन्या समृद्धि योजना (एसएसवाई) एक लॉन्ग टर्म निवेश योजना है, जो विशेष रूप से बेटियों के लिए बनाई गई है। इस योजना के तहत, बच्ची के माता-पिता या कानूनी अभिभावक उसके नाम से खाता खोल सकते हैं। खाते में न्यूनतम 250 रुपये और अधिकतम 1.5 लाख रुपये तक की राशि सालाना जमा की जा सकती है। इस खाते पर सरकार 8.2% ब्याज देती है, जो निवेशकों के लिए काफी लाभदायक है।

नियमों में बदलाव

  • अभिभावक के नाम में बदलाव: अब खाता केवल कानूनी अभिभावक (Legal Guardian) या वास्तविक माता-पिता ही खोल सकते हैं। पहले, दादा-दादी या अन्य रिश्तेदार भी बच्ची के लिए खाता खोल सकते थे, लेकिन अब यह अनुमति नहीं होगी। यदि किसी अन्य व्यक्ति ने पहले से खाता खोला हुआ है, तो उसे 1 अक्टूबर से पहले खाते को बच्ची के कानूनी अभिभावक या माता-पिता को ट्रांसफर करना होगा।
  • खाते को ट्रांसफर करने की प्रक्रिया: खाता ट्रांसफर करने के लिए अभिभावकों को बैंक या पोस्ट ऑफिस में जाकर एक फॉर्म भरना होगा। इसके साथ बच्ची का जन्म प्रमाणपत्र, अभिभावक की पहचान प्रमाण, और वर्तमान खाता संचालक का सहमति पत्र प्रस्तुत करना होगा। यह प्रक्रिया सरल है, लेकिन समय पर इसे पूरा करना जरूरी है, अन्यथा खाता बंद किया जा सकता है।
  • अधिकतम खाते की संख्या: एक बच्ची के नाम पर केवल एक खाता खोला जा सकता है, और एक परिवार में अधिकतम दो बेटियों के लिए खाता खोला जा सकता है। यदि एक बेटी के बाद जुड़वा बेटियों का जन्म होता है, तो तीसरी बेटी के लिए भी खाता खोला जा सकता है, लेकिन इससे अधिक बेटियों के लिए नहीं।

सुकन्या समृद्धि योजना के प्रमुख लाभ

  • यह खाता 21 वर्षों तक सक्रिय रहता है या जब बेटी की शादी हो जाती है, तब इसे बंद किया जा सकता है। यह लंबी अवधि के निवेश के लिए एक अच्छा विकल्प है।
  • इस खाते में जमा की गई राशि पर टैक्स छूट मिलती है। साथ ही, खाते पर मिलने वाला ब्याज और मैच्योरिटी राशि भी टैक्स फ्री होती है।
  • वर्तमान में 8.2% की ब्याज दर इस योजना को और भी आकर्षक बनाती है। यह दर सरकार द्वारा समय-समय पर संशोधित की जाती है।
  • इस योजना का खाता 250 रुपये की न्यूनतम जमा राशि से खोला जा सकता है, जिससे यह सभी वर्गों के लिए सुलभ है।

1 अक्टूबर से पहले क्या करें

यदि आपके पास पहले से सुकन्या समृद्धि योजना का खाता है, तो आपको नए नियमों के तहत खाते की जांच करनी चाहिए। 1 अक्टूबर से पहले, यदि आपने अपनी बेटी का खाता किसी अन्य रिश्तेदार के नाम से खुलवाया है, तो जल्द से जल्द इसे कानूनी अभिभावक के नाम पर ट्रांसफर करें। यह न केवल आवश्यक है, बल्कि इससे भविष्य में किसी भी प्रकार की असुविधा से बचा जा सकेगा।

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